शिमला। प्रदेश की कांग्रेस सरकार में चीन से सटे कबाइली जिला लाहुल स्पिति में त्राही –त्राही मची हैं। जिला के तीनों एसडीम के पद खाली हैं। डीएफओ व बीडीओ का पद भी खाली हैं। इसके अलावा नायाब तहसीलदार भी नहीं हैं। साफ है कि सुक्खू सरकार में चीन से सटे इस संवेदनशील जिला में अधिकारियों के न होने से लोगों में त्राही-त्राही मची हुई हैं।
कांग्रेस विधायक रवि ठाकुर ने कहा है कि विधानसभा चुनावों के बाद लाहुल स्पिति के उदयपुर, केलांग व काजा उपमंडलों से तीनों एसडीएम को हटा लिया गया था। इसके अलावा वहां से डीएफओ का तबादला भी कर दिया गया था। अब बीडीओ भी नहीं हैं। यही नहीं नायब तहसीलदार भी नहीं हैं। अगर युवाओं को नौकरी के लिए प्रमाणपत्र लेने हो तो वह नहीं मिल रहे हैं। उनके भविष्य से खिलवाड हो रहा हैं।
रवि ठाकुर ने दावा कि इस मसले को लेकर उन्होंने मुख्यमंत्री से कई बार बात की। मुख्यमंत्री के उनको फोन भी आएं कि वह इन पदों को भरने जा रहे हैं लेकिन अभी तक पदों को नहीं भरा गया हैं। इससे जनता में नाराजगी बढती जा रही हैं।
यह मसला लाहुल स्पिति से कांग्रेस के विधायक रवि ठाकुर ने उठाकर अपनी की सरकार को कटघरे में खडा कर दिया हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री ही नहीं मुख्य सचिव व गृह सचिव को भी कटघरे में खडा कर दिया हैं। चीन से लगे इस जिला की स्थिति को बेशक मुख्यमंत्री गंभीरता से न ले रहे हो लेकिन गृह सचिव व मुख्य सचिव तो गंभीरता को समझते ही होंगे। रवि ठाकुर ने इस बावत पार्टी अध्यक्ष प्रतिभा सिंह को भी कोई चिटठी लिखी हैं।
याद रहे कि लाहुल स्पिति की सीमा के पार चीन निर्माण कार्यों में संलग्न हैं व जयराम सरकार में पुलिस महानिदेशक संजय कुंडू ने एक रपट बनाकर जयराम सरकार व राज्यपाल को सौंपी थी जिसमें कहा गया था चीन से सटे गांवों में लोगों को बसाया जाना चाहिए ताकि वहां पर आबादी रहे। इस रपट में यह हवाला भी था कि वहां पर गांवों में ज्यादातर बुजुर्ग लोग ही रह गए हैं। युवा शहरों के लिए पलायन कर गए हैं। अब ऐसे जिला को अफसरों से विहीन करने के मायने प्रदेश के गृह सचिव व मुख्य सचिव तो समझते ही होंगे। सुक्खू को तो अभी सत्ता में आए तीन ही महीने हुए हैं लेकिन उन्हें अपने विधायक की मांगों को गंभीरता से लेना चाहिए था। लेकिन ऐसा नहीं हो रहा हैं।
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