नई दिल्ली।शनिवार को नेपाल में आए भयंकर भूकंप के बाद लगातार थर्रा रही धरती के बीच नेपाल और भारत मेें चल रहे बचाव व राहत कार्य के दौरान दोनों देशों में अब तक 25 सौ के करीब लोगों की लाशें निकाली जा चुकी है और सैंकड़ों अभी भी लापता है।नेपाल में आधिकारिक तौर पर साढ़े 21सौ से ज्यादा लोगों के मरने की पुष्टि हो चुकी है। जबकि भारत में 50 से ज्यादा लोग मारे गए है। रविवार को भी नेपाल और भारत के कई राज्यों में भूकंप के झटके महसूस किए गए है।इससे लोगों में दहशत फैल गई। हजारों की तादाद में लोग खुले में आ गए है। उन तक न तो भोजन पहुंच पा रहा है और न ही बाकी राहत। मौसम विभाग ने बारिश की संभावना जता कर डरे व पीड़ा में लोगों की चिंता बढ़ा दी है। मलबे से निकाली गई लाशें वीभत्स करने वाली है।
काठमांडू एयरपोर्ट को भारी नुकसान पहुंचा है।जिसकी वजह से रविवार दोपहर को भारत की ओर से राहत सामाग्री लेकर भेजा गया जहाज लैंड नहीं कर पाया। उसे वापस दिल्ली लैंडिंग करनी पड़ी। इसे रविवार को चार बजे के बाद फिर चालू कर दिया गया है।भारत के अलावा चीन और जापान की टीमें भी सर्च अापरेशन में जुटी है।नेपाल में भाारत के अलावा चीन और जापान के नागरिकों की खासी तादाद है।
दुनिया के तमाम देशों से इमदाद मिलने के बावजूद लगातार भूकंप के झटकों की वजह से राहत व बचाव कायों में अड़चनें आ रही है। लाशों को निकालने का काम जारी है।
नेपाल के प्रधानमंत्री बाबूराम भटटाराई ने कहा है कि अस्सी सालों में ये सबसे बड़ा हादसा है।जान माल का भारी नुकसान हुआ है।उधर भूकप की वजह से माउंट एवरेस्ट पर गए पर्वतारोहियों में से मरने वालों की तादाद 22 तक पहुंच गई है। यहां भी राहत व बचाव कार्य जारी है। कई लोग अभी भी लापता है।
संयुक्त राष्ट्र संघ ने कहा है कि नेपाल में भूकंप से 66 लाख की आबादी प्रभावित हुई है।
नेपाल में आई इस भयानक प्राकृतिक आपदा की वीभत्स झलक ये तस्वीरें बयां कर रही है -:
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