शिमला। पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल और मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के परिवार के बीच भ्रष्टाचार को लेकर पिछले अढाई सालों से चल रही जंग बीच में एक अरसे तक थमने के बाद एक बार फिर शुरू हो गई है। पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल के छोटे बेटे अरुण धूमल ने आज वीरवार को राजधानी में आयोजित संवाददाता सम्मेलन में आरोप लगाए कि मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के बेटे विक्रमादित्य और बेटी अपराजिता की कंपनी मेपल इंटरनेशनल प्राइवेट लिमिटेड को वक्कामूल्ला चंद्रशेखर की कंपनी तारिणी इंटरनेशनल लिमिटेड को कंपनी के आफिस को रेनोवेट करने के लिए एक करोड़ 20 लाख का ठेका दिया। मेपल इंटरनेशनल में वीरभद्र सिंह के बेटे विक्रमादित्य सिंह के 95 प्रतिशत और बेटी अपराजिता के 5 प्रतिशत के शेयर है। मेपल इंटरनेश्नल को दिल्ली के पिचेश्वर गढढे और सुनीता गढढे ने अपना फार्महाउस बेचा था। इसकी रजिस्ट्री एक करोड़20 लाख में हुई । लेकिन जब आयकर विभाग की टीम ने जून 2014में इनसे पूछताछ की तो उन्होंने कहा कि उन्होंने ये प्रापर्टी 6करोड़ 81 लाख में बेची है और पांच करोड़ 41 लाख रुपया कैश में लिया था। उन्होंने कहा कि आयकर विभाग के जिस अफसर ने वीरभद्र सिंह की 2करोड़ 80 लाख की रिटर्न को पास कर दिया था। विभाग ने जांच में उसे गलत पाया है और कई आकलन अफसर की ओर से आकलन करते हुए की गई कई खामियों का जवाब मांगा है। हालांकि उसे चार्जशीट किया जाना चाहिए थी।विभाग ने पाया कि रिटर्न का आकलन करने वाले अफसर ने बगीचे की पैदावार की क्षमता का पता नहीं लगाया।साथ लगते बगीचों की पैदावार का पता नहीं लगाया।कैश में सेब कैसे बिकता गया ये पता नहीं लगाया। विभाग की जांच में ये आया है कि वीरभद्र सिंह के बगीचे के सेब दिसंबर,जनवरी,फरवरी और मार्च में बिकते गए। ये भी पता नहीं लगाया कि यूनिवर्सल एप्पल जिसे सेब बेचे गए उसकी ओर से जारी बिल सही है ये फर्जी।इसके अलावा आनंद चौहान और वीरभद्र सिंह के बीच बगीचे के प्रबंधन को लेकर हुए एमओयू की असलियत जानने की कोशिश भी नहीं की।
उन्होंने कहा कि वक्कामूल्ला की कंपनी ने मार्किट से पैसा लेने के लिए आईपीओ जारी किए और मार्किट से 16 करोड़ के करीब रुपया एकत्रित किया। आईपीओ फ्लोट करने के उददेश्यों में एक उददेश्य कंपनी के रजिस्टर आफिस को रेनोवेट करना बताया था।
वीरभद्र सिंह पर गुस्साए छोटे धूमल ने वीरभद्र सिंह के आयकर मामले की जांच करते हुए आयकर विभाग की टीम वक्कामूला तक भी पहुंची थी।वक्कामूला से विभाग ने पूछा कि उन्होंने जो पैसा वीरभद्र सिंह को दिया वो कहां से दिए। छोटे धूमल ने दावा किया कि आयकर विभाग को वक्कामूला ने कहा कि वो मिर्ची की खेती करते हैं वहां से उनको आय हुई।इस बावत उन्होंने जमीन के कागजात भी आयकर विभाग को दे दिए। जब आयकर विभाग की विशाखापटनम की टीम वक्कामूला के घर गई तो वहां उन्हें त्रिपूरणा अहिल्या देवी नामक महिला मिली। उसने कहा कि वो ऐसे किसी वक्कमूलला को नहीं जानती है। लेकिन एक वक्कमूला उनका किराएदार है आप उनसे बात कर लीजिए।विभाग की टीम ने किराएदार से पूछताछ की तो उसने कहा कि वक्कामूला उसका चचेरा भाई है और उसने उसे त्रिपुरणा देवी की जमीन के कागजात दिए थे कि इनके पास जमीन है और अगर आप किराए पर लेना चाहो तो ले सकते हो। अरुण धूमल ने कहा कि जांच के दौरान आयकर विभाग की टीम ने राम प्रकाश भाटिया से भी पूछताछ की तो उसने बताया कि वो तो कैश लेते हें और कमिशन काट कर एंट्री रसीद दे देते है।
छोटे धूमल ने वक्कामूला के साई कोठी प्रोजेक्ट के आवंटन में तत्कालीन सचिव पॉवर जेपी नेगी को भी वीरभद्र सिंह के साथ मिलीभगत करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि 2007 में जे पी नेगी केबिनेट में फर्जी लेटर लेकर गए थे। उस वक्त केबिनेट में रामलाल,कुलदीप कुमार,गंगूराम मुसाफिर व रंगीला राम राव जैसे मंत्री थे जिन्होंने उस समय वीरभद्र सिंह का साथ दिया था।। जिन्हें वीरभद्र सिंह ने आज चेयरमैन की कुर्सियां नवाज कर उनकी जुबान बंद कर रखी है। वक्कामूला इस प्रोजेक्ट को लेकर आज फिर हाईकोर्ट में है और कोर्ट में गलत तथ्य दे रखे है जो अपराध है। उन्होंने कहा कि वो इंटरवेनशन एप्लीकेशन देने के लिए कानूनी राय ले रहे है।ताकि अदालत को सही तस्वीर बताई जा सके। उन्होंने कहा कि कई बार अदालत सूमोटो एक्शन भी ले लेती है।
छोटे धूमल ने वीबीएस मामले में दिल्ली हाईकोर्ट में चल रहे मामले को लेकर कहा कि अदालत को इस मामले में सीबीआई,आयकर विभाग की ओर से दी गई रिपोर्टों पर संज्ञान लेना चाहिए था लेकिन दुर्भाग्य से अदालत याचिका के मेंटेनेबलिटी के मुददे पर आ गई है। और इसके लिए एमिक्स क्यूरी तैनात कर रखा है। उन्होंने टिप्पणी की कि न्यायिक व्यवस्था अच्छी है लेकिन इतनी भी अच्छी नहीं है कि वो हर गुनाहगार को सजा दे दे और हर बेगुनाह को बरी कर दे। अपने पिता के सखा व केंद्रीयवित मंत्री अरुण जेटली की ओर से इस मामले में उठाए जा रहे कदमों पर उन्होंने जेटली का बचाव करते हुए कहा कि वो जो कर सकते है वो कर रहे है। ये पूछने पर कि अब तक एफआई आर तो हुई ही नहीं है। छोटे धूमल ने कहा कि वो भी दर्ज होगी।
(0)