शिमला। प्रदेश विधानसभा के स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया की ओर से वित विधयेक के दौरान सदन से गैर हाजिर रहने वाले छह कांग्रस विधायकों को अयोग्य ठहराए के मामले में सुप्रीम कोर्ट में कल यानी 18 मार्च को सुनवाई होनी हैं।
इस मामले में सरकार व स्पीकर की ओर से वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल के अलावा मुकुल रोहतगी भी पैरवी करेंगे। हिमाचल प्रदेश हाईकोर्ट में महाधिवक्ता अनूप रतन पूरी तैयारी के साथ दिल्ली रवाना हो चुके है ।
इस मामले में क्रास वोटिंग करने वाले छह कांग्रेसी विधायकों की ओर से पैरवी भाजपा के पूर्व सांसद सत पाल जैन व वरिष्ठ वकील हरीश साल्वे कर रहे हैं।
पिछली सुनवाई की हरीश साल्वे आनलाइन पैरवी करने जुड़ नहीं पाए थे।
यह सुनवाईअहम होने वाली हैं। हालांकि चुनाव आयोग ने इन छह सीटों के लिए चुनावें की घोषणा कर दी हैं।
याद रहे कि स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया ने धर्मशाला से कांग्रेस विधायक रहे सुधीर शर्मा, सुजानपुर से राजेंद्र राणा, बड़सर से इंद्र दत लखनपाल, ऊना के गगरेट से पहली बार विधायक बने चैतन्य शर्मा, कुटलैहड़ से देवेंद्र भुटटो, और लाहुल स्पिति से रवि ठाकुर को वित विधयेक के दौरान व्हीप का उल्लंघन कर सरकार को गिराने की मुहिम शामिल होने का दोषी ठहराते हुए विधानसभा की सदस्यता से बाहर कर दिया था।
इन विधायकों को इस फैसल के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दे रखी है। इनकी दलील है कि इन्हें 18 घंटों के भीतर अयोग्य ठहरा दिया गया। पिछली सुनवाई को जस्टिस संजीव खन्ना की पीठ ने कहा था कि वो इस मामले में हाईकोर्ट क्यों नहीं गए। अब कल इस मसले पर सुनवाई होनी हैं।
ये छहों विधायक इन दिनों हरियाणा में रह रहे है और इनके घरों पर हिमाचल में केंद्र सरकार ने सुरक्षा के लिए सीआरपीएफ तैनात कर दी हैं।
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