शिमला। प्रदेश हाईकोर्ट ने जुब्बड़हटटी एयरपोर्ट से सितंबर 2012 से उड़ाने निलंबित करने के फैसले पर पूरी डिटेल के साथ जवाब तलब किया है। ये जवाब तलबी हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश अहमद मंसूर मीर और जस्टिस त्रिलोक चौहान ने पारस धौलटा की ओर से दायर याचिका की सुनवाई करते हुए की है।
पारस ने अपनी याचिका में कहा था किए सरकार इस एयरपोर्ट के रखरख्ााव पर करोड़ों रुपए खर्च कर रही है लेकिन सितंबर2012से यहां से एक भी उड़ान नहीं भरी गई है।ऐसे में ये एयरपोर्ट सफेद हाथी बन गया है।यहां से किंग फिशर की उड़ाने उड़ती थी लेकिन सितंबर 2012 के बाद एयरक्राफ्ट पर रोक लगा दी थी।याचिका कर्ता ने कहा कि एयरइंडिया एथारिटी ने एक रिपोर्ट बना रखी है कि कंडाघाट में बड़ा एयरपोर्ट बनाने के लिए जगह चिन्हित की है।
इससे पहले हाईकोर्ट ने अपने पहले आदेश में विमानन मंत्रालय के सचिव,चेयरमैन एयर इंडिया एथारिटी,चेयरमैन एयर इंडिया,एयरपोर्ट डायरेक्टर शिमला,हिमाचल के प्रधान सचिव पर्यटन,डीसी शिमला व सोलन और पीडब्ल्यूडी के इंजीनियर इन चीफ की एक समिति गठित कर इस एयरपोर्ट को फंक्शनल करने के लिए सुझाव मांगे थे।
मुख्य सचिव ने अदालत में बताया कि एयर इंडिया के चेयरमैन ने कहा है कि अगर सुविधा मुहैया कराई जाए तो मौजूदा एयरपोर्ट इंफ्रास्ट्रक्चर में एटीआर42-320 की उड़ाने हो सकती है।मामले कीअगली सुनवाई 30 मार्च को होगी।
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