शिमला। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने आज भाजपा विधायक त्रिलोक जम्वाल की ओर अदाणी समूह की कंपनी के जीएम को लेकर पूछे प्रश्न के जवाब में टिप्पणी कर दी कि जम्वाल के अदाणी से अच्छे संबंध होंगे। इस मसले पर सदन में हल्का शोरगुल भी हुआ।
बीते दिनों बिलासपुर में एसीसी सीमेंट के जीएम की गाडी रोक कर उन पर हमला करने व स्याही फेंकने को लेकर भाजपा विधायक त्रिलोक जम्वाल ने सदन में प्रश्न किया कि जिस व्यक्ति ने जीएम पर हमला किया वह हमले के दौरान अपने हाथ में पिस्तौल लहरा रहा था उस पर धारा 302 क्यों नहीं लगाई गई। उसकी पिस्तौल तुरंत कब्जे में क्यों नहीं ली गई।
जम्वाल ने कहा कि कंपनी के जीएम का दस किलोमीटर तक पीछा किया। आगे जाकर उसकी गाडी रोकी गई ।
मुख्यमंत्री ने जवाब देते हुए टिप्पणी कर दी कि जम्वाल के अदाणी से अच्छे संबंध होंगे। मुख्यमंत्री ने जवाब देते हुए कहा कि जब प्रदेश में कांग्रेस सरकार सता में आई तो अदाणी ग्रुप ने सीमेंट कारखाने बंद कर दिए और और आपरेटरों ने हडताल कर दी। उन्होंने कहा कि एक बोलेरों में बैठकर जीएम की गाडी का पीछा किया गया। उसे आगे जाकर रोका गया। उसका शीशा खोला गया और उस पर स्याही फेंकी गई। यह सब सही हैं।
पुलिस ने मौके पर से डंडा, स्याही, जुते और पिस्तौलनुमा चीज जो खिलौना था उसे बरामद किया था। यह आरोेपियों ने जीएम को डराने के लिए इस्तेमाल किया था।
उन्होने कहा कि प्रदेश सरकार प्रदेश में हर व्यक्ति को सुरक्षा देने में सक्षम हैं। सुक्खू ने जम्वाल से आग्रह किया कि अगर उनके पास कोई और तथ्य है तो वह सरकार को दें उन पर कार्यवाही होंगी।
जम्वाल ने इस दौरान अपने हलके के एक प्रधान के घर पुलिस के पहुंचने और बाद में विजीलेंस की टीम के पहुंचने का मसला उठाया। जम्वाल ने कहा कि उस प्रधान को विजीलेंस ने रात को टार्चर किया। इस पर सदन में शोरगुल हो गया यह मसला मुख्य प्रश्न से जुडा नहीं हैं!
जवाब देते हुए मुख्यमंत्री सुक्खू ने कहा कि पुलिस गलत काम नहीं करती है। जिस प्रधान के घर पुलिस व विजीलेंस पहुंची उसने जरूर कुछ किया होगा। तभी कार्यवाही हुई होगी।
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