रूही शर्मा
सुजानपुर /शिमला। दुनिया भर में योग का डंका पीटने का श्रेय बेशक योग गुरू बाबा राम देव को है लेकिन उनकी हिमाचल के पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल से नहीं बनती। बताते हैं कि कोई जमीन का झगड़ा हुआ था। तब से बाबा को धूमल वैसे ही अच्छे नहीं लगते जैसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को हिमाचल भाजपा के दूसरे बड़े नेता शांताकुमार अखरते रहते हैं। चूंकि मामला इंटरनेश्नल योग डे का था तो बिना बाबा के काम तो चल नहीं सकता था ऐसे में दूसरे बाबा का इंतजाम किया गया और आर्ट ऑफ लिविंग के संस्थापक श्री श्री रविशंकर को सुजानपुर बुलाया गया। उसके बाद वो धर्मशाला भी गए।
राजधानी शिमला में जब आर्टऑफ लिविंग की प्रेस कांफ्रेंस हुई थी तो कहा गया था कि श्री श्री रविशंकर धर्मशाल में ही जाएंगे। लेकिन वो सुजानपुर भी पहुंचे। साथ में मोदी सरकार में कपड़ा मंत्री व छोटे परदे की अदाकारा स्मृति ईरानी ने योग डे पर सेलिब्रिटी का छौंक भी लगाया।
सुजानपुर में इंटरनेशनल योगा-डे पर बुधवार को ऐतिहासित होली ग्राउंड में स्कूली छात्रों को बारिश में एक घंटे से ज्यादा श्री श्री रविशंकर और अन्य गणमान्यों के इंतजार में बैठे रहना पड़ा। इन नन्हे होनहारों को इस योग उत्सव में प्रतिभागी बनाने के लिए या फिर यूं कहे इस आयोजन को सफल दिखाने के लिए इकट्ठा किया गया था।
इस आयोजन को सफल बनाने के लिए खुद भाजपा सांसद अनुराग ठाकुर, मंच का संचालन करते रहे। मुख्यतिथि श्री श्री रविशंकर के अलावा, पूर्व मुख्यमंत्री और वर्तमान में नेता प्रतिपक्ष प्रेम कुमार धूमल और केंद्रीय कंपड़ा मंत्री स्मृति ईरानी ने भी इस मौके पर शिरकत की।नेता प्रतिपक्ष प्रेम कुमार धूमल, भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतपाल सिंह सत्ती, सांसद अनुराग ठाकुर,बीजेपी प्रदेश प्रभारी मंगल पांडेय ने योगासन किए.
वहीं स्थानीय लोगों को इस आयोजन के पीछे राजनीति भी छिपी हुई नजर आई । उनका कहना है कि इसके आयोजन करने के पीछे आगामी विधानसभा चुनावों का आना भी है, ताकि जनता के साथ जुड़ाव दिखायाजा सके। छात्रों के साथ आए कई अध्यापकों ने दबी जुबान में कहा कि इससे प्रकार की गतिविधियां रोजाना स्कूलों में की जाती हैं और इस प्रकार के विशेष आयोजन बच्चों की पढ़ाई पर असर डालते हैं। साथ ही मौसम के अनुकूल ना होने के वजह से बच्चों की तबीयत खराब होने का भी खतरा मंडराता रहता है।
वहीं आर्ट ऑफ लिविंग के संस्थापक श्री श्री रविशंकर ने इस मौके पर उपस्थित स्कूली छात्रों के हौसला आफजाई करते हुए कहा कि योग कर रहे बच्चों को इसका जरूर फल मिलेगा। अब देखना होगा कि फल बच्चों को मिलता है या फिर इसके पीछे छिपे राजनेताओं को।
इस मौके पर धूमल ने कहा कि योग बौद्धिक और शारीरिक विकास को बढ़ाता है। साथ ही उन्होंने एक बड़ा एलान भी कर दिया व कहा कि अगर आगामी चुनावों ने भाजपा प्रदेश में सरकार बनाती है तो योग को समान्य पाठ्यक्रम के रूप में शामिल किया जाएगा।
अपने संबोधन में स्मृति इरानी ने कहा कि योग भारत की संस्कृति और प्रकृति का प्रतीक है। इससे सदियों से हमें एकता और अनुशासन में रखा है।
देखें योग डे पर योग और राजनीतिक जलवे को दर्शाती चंद तस्वीरें-:
डेस्क के इनपुट के साथ सुजानपुर में आयोजित योग डे से लौट कर,-
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