शिमला। सरकार व संगठन में मचे घमासान का साधने की कवायद में जयराम सरकार ने विभिन्न अदारों में खाली पडे अध्यक्षों व उपाध्यक्षों के पदों को अब साढे तीन साल बाद भरने की कवायद शुरू कर दी है। इस कडी में आज देर शाम तक विधानसभा में मुख्य सचेतक, उप मुख्य सचेतक और तीन उपाध्यक्षों को नियुक्त किया जा चुका था। उपाध्यक्षों में एक महिला शामिल है। समझा जा रहा है कि यह सिलसिला अभी जारी रहेगा।
जयराम सरकार ने आज पूर्व बागवानी मंत्री और विधानसभा में मुख्य सचेतक नरेंद्र बरागटा की जगह चंबा के भटियात से विधायक बिक्रम जरियाल को मुख्य सचेतक की कुर्सी पर बिठा दिया है। जरियाल एक अरसे से पार्टी व सरकार से खफा थे। कुछ अरसा पहले ही उनकी मुख्यमंत्री जयराम से नजदीकियां बढी थी। 2017 में जब जयराम मंत्रिमंडल को रिज मैदान पर शपथ दिलाई जा रही थी जरियाल का नाम न आने पर उनके समर्थकों ने नारेबाजी भी की थी। उसके बाद उन्हें हाशिए पर धकेल दिया । अब उन्हें मुख्य सचेतक का ओहदा थमा दिया गया है। इस बावत आज देर शाम विधानसभा के सचिव यशपाल शर्मा ने अधिसूचना जारी कर दी है। इसके अलावा हमीरपुर के भोरंज से विधायिका कमलेश कुमारी को उप मुख्य सचेतक नियुक्त किया गया है। वह उनका नाता संघ्ज्ञ परिवार से रहा है।
इसके अलावा जयराम सरकार ने आज महिला मोर्चा की प्रदेश अध्यक्ष रश्मिधर सूद का राज्य पर्यटन विकास बोर्ड का उपाध्यक्ष तैनात कर दिया । रश्मिधर सूद को एक अरसे से कोई ओहदा देने की कवायद हो रही थी। लेकिन सरकार के स्तर पर कहीं कुछ नहीं हो रहा था। अब उनको एक और ओहदा दे दिया गया है। रश्मिधर सूद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नडडा खेमे से मानी जाती है। उनकी इस पद पर नियुक्ति की अधिसूचना प्रधान सचिव पर्यटन सुभाशीष पांडा ने जारी की है। सूद सोलन की रहने वाली है1
सरकार ने आज राष्ट्रीय बचत राज्य सलाहकार बोर्ड के उपाध्यक्ष पद पर भी ताजपोशी की है। इस पद संजय गुलेरिया को बिठाया गया है। सरकार व संगठन में गुलेरिया को जाना माना नाम नहीं है। अतिरिक्त मुख्य सचिव वित प्रबोध सक्सेना ने उनकी नियुक्ति को लेकर अधिसूचना जारी कर दी है। इसके अलावा सरकार ने प्रदेश पिछड़ा वर्ग वित व विकास निगम कांगड़ा के उपाध्यक्ष के पद पर फतेहपुर के ओम प्रकाश चौधरी की ताजपोशी की है। इन दिनों को पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल के करीबी माना जाता हैै।
देर शाम तक बागी हो चुके भाजपाइयों की नियुक्तियां नहीं हुई थी। जयराम सरकार ने पर्यटन विकास निगम और प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अध्यक्ष व उपाध्यक्ष के मलाइदार जैसे आंहदों को अभी तक खाली रखा है।अब साढे तीन साल बाद इन नियुक्तियों से सरकार कितनी की बगावत संभाल पाएगी इसे लेकर आकलन किया जा रहा है।
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