शिमला। अचानक पूर्व मुख्य सचिव बीके अग्रवाल के केंद्रीय प्रतिनियुक्ति में तैनाती होने के बाद प्रदेश में वरिष्ठ आइएएस अधिकारियों की कमी हो गई है। सरकार में पांच अतिरिक्त मुख्य सचिवों में से जयराम सरकार के सबसे वरिष्ठ तीन अतिरिक्त मुख्य सचिवों के बजाय ज्यादा महत्वपूर्ण महकमे उनसे कनिष्ठ अधिकारियों के पास है। जयराम सरकार में इस समय सरकार के महत्वपूर्ण महकमों की बागडोर दो अतिरिक्त मुख्य सचिवों व बाकी महत्वपूर्ण महकमो की बागडोर प्रधान सचिवों व एक आइपीएस अधिकारी के हाथ में है।
शनिवार रात को मुख्य सचिव बनाए गए 1985 बैच के आइएएस अधिकारी श्रीकांत बाल्दी के चार महीने बाद सेवानिवृत होने के बाद प्रदेश में 1987 के बैच के अतिरिक्त मुख्य सचिव राम सुभाग सिंह और उनकी पत्नी निशा सिंह प्रदेश में तैनात वरिष्ठ अधिकरियों की कतार में सबसे आगे है।
पर्यटन निगम के 16 होटलों को बेचने के मामले में जयराम सरकार राम सुभाग सिंह से नाराज हो गई है। उनसे पर्यटन विभाग छीन लिया गया है। हालांकि उनको हटाने के पीछे किसी बाहरी शक्ति का भी हाथ बताया जा रहा है। उनके पास अब वन विभाग ही बड़ा विभाग बचा है। उनके बाद उनकी पत्नी निशा सिंह वरिष्ठ अधिकारियों में शुमार है। उनके पास भी सामाजिक अधिकारिता और न्याय ही बड़ा महकमा है।
सचिवालय से जुड़े सूत्र बताते है कि यह दोनों अधिकारी भी केंद्र सरकार में प्रतिनियुक्ति पर जाने की राह देख सकते है। इस बैच के अधिकरी तरुण कपूर पहले ही केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर है।इससे पहले 1986 बैच के वरिष्ठ अधिकारी अनिल कुमार खाची डेढ महीना पहले ही केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर गए है। 1985 बैच के संजीव गुप्ता पहले ही केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर है। अगर राम सुभाग सिंह व निशा सिंह भी केंद्रीय प्रतिनियुकित पर चले गए तो प्रदेश में 1988 बैच के तीन अधिकारी इस समय प्रदेश में तैनात है। इनमें सबसे वरिष्ठ संजय गुप्ता है। उनको पहले ही हाशिए पर रखा हुआ है। वह 2026 में सेवानिवृत होंगे। इस बैच के मनोज कुमार और आरडी धीमान के पास बेशक महत्वपूर्ण महकमे है। लेकिन कहा जा रहा है जयराम सरकार मनोज कुमार से गृह विभाग वापस लेना चाहती है। वह फरवरी 2021 में सेवानिवृत हो रहे है। वह अधिकांया समय केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर ही रहे हैं। उनके बाद अतिरिक्त मुख्य सचिव आरडी धीमान है । वह हिमाचल प्रदेश के ही है और उनके पास कई महत्वूपर्ण महकमे है। इस बैच के बाद 1989 बैच के के संजय मूर्ति भी केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर है।
इसके बाद के 1990 बैच के प्रबोध सक्सेना,1991 बैच के जगदीश चंद्र 1994 बैच के ओंकार शर्मा जयराम सरकार के लाडले अधिकारियों में शुमार है। यह सभी प्रधान सचिव है और इन तीनों के पास बहुत महत्वपूर्ण महकमे है। इसके अलावा 1989 बैच के आइपीएस अधिकारी संजय कुंडू पर भी जयराम सरकार बेहद मेहरबान है। उन्हें बीती रात को मुख्यमंत्री का प्रधान सचिव बना दिया है। यह कुर्सी बाल्दी के मुख्य सचिव बनने पर खाली हो गई थी । बाल्दी के बाद जयराम सरकार में वह सबसे ताकत अधिकारी बन गए है। लोक संपर्क विभाग भी उनके जिम्मे कर दिया गया है। कराधान व आबकारी विभग के अलावा उनके पास प्रधान सचिव विजीलेंस का महकमा भी है। मुख्यमंत्री कार्यालय में गठित गुणवता नियंत्रण प्रकोष्ठ के भी वह प्रमुख है।
नौ वरिष्ठ आइएएस अधिकारी केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर
मौजूदा समय में 1983 बैच के तीन अधिकारी केद्रीय प्रतिनियुक्ति पर है। ये तीनों ही इस साल के आखिर तक सेवानिवृत हो जाएंगे। नवंबर 2020 में सेवानिवृत होने वाले 1984 बैच के अधिकारी अरविंद मेहता भी केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर है। केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर जाने पर 1985बैच के बीके अग्रवाल को बीती शाम को ही मुख्यमंत्री व बाकी मंत्रियों ने विदाई दी। हालांकि वह जून 2021 में सेवानिवृत होने थे। इसी बैच के संजीव गुप्ता,1986 बैच के अनिल कुमार खाची ,1987 बैच के तरुण कपूर और 1988 बैच के अली राजा रिजवी केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर है। इनके बाद प्रधान सचिव स्तर के अधिकारी है। इस तरह प्रदेश काडर के नौ वरिष्ठ अधिकारी केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर है।
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