शिमला।धर्मशाला के तपोवन में आयोजित किए जा रहे कॉमनवेल्थ पारलियामेंटरी एसोसिएशन (सीपीए) के भारत क्षेत्र ज़ोन-2 के दो दिवसीय वार्षिक सम्मेलन की शुरूआत के मौके पर मुख्यमंत्री् सुखविंदर सिंह सुक्खू ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला व बाकी भाजपाइयों को असहज कर दिया।
इस मौके पर सुक्खू ने याद दिला दिया कि प्रदेश ने पहली बार लोकतांत्रिक रूप से चुनी हुई सरकार को गिराने का प्रयास किया गया लेकिन विधानसभा अध्यक्ष ने कानून के अनुसार कार्यवाही कर जिम्मेदार विधायकों को अयोग्य घोषित किया।
उन्होंने कहा कि लोकतन्त्र की रक्षा के लिए ‘एंटी डिफेक्शन लॉ’ लागू करना अत्यंत आवश्यक है। उन्होंने कहा कि प्रदेश विधानसभा ने आयोग्य विधायकों की पेंशन पर रोक के लिए बिल पास किया है, जिसे राज्यपाल को स्वीकृति के लिए भेजा गया है। उन्होंने यहां पर राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल को भी लपेट लिया कि बिल उनने अपने पास दबा कर रखा हैं।
यही नहीं सुक्खू कैबिनेट में संसदीय मामलों के मंत्री हर्षवर्धन चौहान ने भी एंटी डिफेक्शन लॉ पर बल दिया। उन्होंने कहा कि यह बिल लोकतंत्र की मजबूती के लिए अत्यंत आवश्यक है।
याद रहें कि मोदी सरकार देश भर में चुनी हुई सरकारों को तोड़ने में कुख्यात हो चुकी हैं। लेकिन अब इस तरह के मंचों पर उसे व उसके नेताओं को फजीहत झेलनी पड़ रही हैं।
बहरहाल, इस सम्मेलन का आगाज़ लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने किया।
इस सम्मेलन में दिल्ली, हरियाणा, पंजाब और जम्मू-काश्मीर विधानसभा के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, मुख्य सचेतक और उप-मुख्य सचेतक शामिल हुए। इसके अलावा कर्नाटक, असाम, उत्तर प्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र और तेलंगाना राज्यों के विधानसभा अध्यक्ष विशेष रूप से उपस्थित थे।
यही नहीं सुक्खू ने ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ नीति के तहत वर्ष में एक बार उप-चुनाव करवाने का सुझाव भी रखा और लोकसभा अध्यक्ष से इसे राष्ट्रीय मंच पर उठाने का आग्रह किया।
मुख्यमंत्री ने राज्य की कठिन पारिस्थितिकी को ध्यान में रखते हुए हिमाचल जैसे पहाड़ी राज्यों के लिए अलग नीति की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि जीएसटी लागू होने के उपरांत राज्य को राजस्व का नुकसान हुआ है। इसलिए केन्द्र को चाहिए कि वह पहाड़ी राज्यों के लिए अलग नीति तैयार करे।
सुक्खू ने कहा कि प्रदेश सरकार ने सीमा पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए 3,930 मीटर ऊंचाई पर स्थित शिपकी-ला दर्रे पर बॉर्डर टूरिज्म गतिविधियों की शुरुआत की है। यह भारत-चीन सीमा पर स्थित है और इससे किन्नौर जिला के जनजातीय क्षेत्र में पर्यटन को नई दिशा मिलेगी।
विधानसभा अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने कहा कि यह सम्मेलन धर्मशाला के लिए एक नया अध्याय साबित होगा।
इस मौके पर राज्यसभा के उपाध्यक्ष डॉ. हरिवंश नारायण सिंह ने भी अपने बहुमूल्य विचार रखे।
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