शिमला। मुख्य सचिव अनिल खाची और वामपंथियों के खिलाफ विवादास्पद बयानबाजी करने के बाद अब जयराम सरकर के सबसे ताकतवर मंत्री महेंद्र सिंह ठाकुर विवादास्पद बयानबाजी के कारण अब प्रदेश के शिक्षकों के निशाने पर आ गए है। महेंद्र सिंह की ओर से यह कहने पर कि कोविड महामारी के दौरान शिक्षकों ने मजे लूटे हैं, पर प्रदेश शिक्षक महासंघ नाराज हो गया हौ और मंत्री से इन शब्दों को वापस लेकर माफी मांगने की मांग कर दी है। महासंघ के नेताओं ने महेंद्र सिंह को बुजुर्ग मंत्री कर तंज भी कसा है और नसीहत दे डाली हौ कि वह अपनी भाषा पर संयम रखे और मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से किस तरह की भाषा का इस्तेमाल करना है यह सीखें।
प्रदेश शिक्षक महासंघ के प्रान्त संगठन मंत्री पवन मिश्रा, प्रान्त अध्यक्ष पवन कुमार, प्रान्त उपाध्यक्ष मामराज पुंडीर और प्रान्त महामंत्री विनोद सूद ने महेंद्र सिंह के उस बयान की जिसमें उन्होंने कहा कि था कि कोरोना कॉल में मास्टरों)(शिक्षकों) ने किए खूब मजे फिर भी पता नहीं कैसे बन गए कोरोना वारियर्स, की कडी शब्दों में निंदा की है।
महासंघ के प्रांत उपाध्यक्ष मामराज पुंडीर ने कहा कि सरकार के एक वरिष्ठ मंत्री को इस प्रकार के बयान देने से पहले अपनी उम्र और पद का ख्याल रखना चाहिए। पुंडीर ने कहा कि प्रदेश के नेताओं को भाषा पर संयम कैसे रखा जाए,यह मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर से सीखना चाहिए।
कभी पूर्व मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल के करीबी रहे पुंडीर ने कहा कि लगता है महेंद्र सिंह ठाकुर प्रदेश के मुख्यमंत्री की सादगी को पचा नहीं पा रहे हैं और वह किसी अन्य पार्टी में जाने की सोच रहे है। ऐसा लगता है की जल शक्ति मंत्री आने वाले 2022 के चुनावों के लिए भारतीय जनता पार्टी की सरकार को प्रदेश में नहीं देखना चाहते हैं तभी वह एक मंत्री होने के नाते कभी अधिकारियों से असभ्य भाषा में बात करते हैं और कभी इस प्रकार के वक्तव्य आम सभा में रखते हैं।
ऐसी बातों से ऐसा लगता है की जल शक्ति मंत्री या तो किसी पाठशाला में पढ़े ही नहीं है अगर पढ़े हैं तो अपने उन गुरुओं का भी अपमान कर रहे हैं जिन्होंने इनको शिक्षा देकर इस काबिल बनाया।
प्रदेश में जयराम सरकार बनने के बाद जयराम सरकार में शिक्षा मंत्री रहे सुरेश भारदवाज के करीब चले गए पुंडीर ने कहा कि अध्यापकों को कोरोना योद्धा का दर्जा देकर ठाकुर जय राम ने अपनी दूरदर्शी सोच और शिक्षकों के प्रति इज्जत को दर्शाया है। पुंडीर ने कहा कि लगता है कि महेंद्र सिंह के लिए अब राजनीति से सन्यास लेने का समय आ गया है। महासंघ ने कहा कि मंत्री ने लाखों लोगों की भावनाओं को ठेस पहुंचाई है व इसके लिए उन्हें तुरंत माफी मांगनी चाहिए।
याद रहे इससे पहले मंत्रिमंडल की बैठक में महेंद्र सिंह ठाकुर मुख्य सचिव अनिल खाची से भिड चुके है। इससे पहले वह वामपंथियों के खिलाफ भी बयानबाजी कर चुके है। वामपंथी उन्हें विधाानसभा से बर्खास्त करने की मांग पहले ही कर चुके है व अब प्रदेश के शिक्षक भी उनसे खफा हो चुके है।
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