शिमला। कांग्रेस पार्टी की गुटबाजी धर्मशाला उपचुनाव में कांग्रेस के लिए नुकसान दायक हो सकती है। धर्मशाला हलके से विधायक व मंत्री रहे सुधीर शर्मा प्रचार से गायब है जबकि कांगड़ा के कांग्रेस के बड़े नेता जी एस बाली विदेश में अपना इलाज करा रहा है। चुनाव का जिम्मा नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्निहोत्री और पार्टी अध्यक्ष कुलदीप सिंह राठौर के सिर पर आ गया है। लेकिन बिडंबना यह है कि धर्मशाला में न मुकेश अग्निहोत्री का और न ही कुलदीप राठौर का वोट बैंक है।
इसके अलावा राज्यसभा सदस्य विपल्व ठाकुर भी प्रचार मेें जुटी है लेकिन उनका भी वोट बैंक ज्यादा नहीं है। धर्मशाला में अगर किसी का वोट बैंक है तो वह पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र का है और पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह इन दिनों बीमार चल रहे है व पीजीआइ में दाखिल है। इसके अलावा संगठन में भी जमकर घमासान मचा हुआ है।
चौधरी वोट बैंक पर कब्जा करने के लिए बीते रोज कांग्रेस पार्टी की धर्मशाला में हुई बैठक में सुझाव आया कि किसी चौधरी को मंडल का कार्यकारी अध्यक्ष बनाया जाना चाहिए। हर भजन भज्जी का नाम सामने भी आया लेकिन पार्टी ने उसे कार्यकारी अध्यक्ष बनाने का जोखिम नहीं उठाया है। मौजूदा मंडलाध्यक्ष राजेश कपूर पूर्व मंत्री सुधीर शर्मा के बेहद करीबी है। ऐसे में वह कांग्रेस प्रत्याशी के लिए कितना काम कर पाएंगे यह महत्वपूर्ण है।
उधर, मुकेश अग्निहोत्री और कुलदीप सिंह राठौर ने धर्मशला में डेरा डाला हुआ है। राठौर आठ अक्तूबर तक वहीं रहेंगे। अग्निहोत्री को धर्मशाला को जिताने का जिम्मा दे रखा है। वह क्या कर पाते है यह देखा जाना है। मुकेश अग्निहोत्री और सुधीर शर्मा दोनों ही वीरभद्र सिंह खेमे के है और दोनों की मुख्यमंत्री बनने की महत्वकांक्षा भी है। ऐसे में इस उपचुनाव में मुकेश की परीक्षा भी है। इसके अलावा कांगड़ा के जितने भी नेता है उनके धर्मशाला में ज्यादा वोट बैंक नहीं है।
कांग्रेस को जो भी उम्मीद है वह भाजपा के बागी राकेश चौधरी से है। चौधरी ओबीसी है व धर्मशला में 25 -30 हजार के करीब ओबीसी मतदाता है। इसके अलावा गददी आबादी ज्यादा है। कांग्रेस व भाजपा ने गददी समुदाय से अपने प्रत्याशी उतारे है। ऐसे में चौधरी को लगता है कि उन्हें अपने समुदाय का एक बउÞा वोट बैंक मिल जाएगा। कांग्रेस इसी वोट बैंक के सहारे है।
उधर,भाजपा में भी गुटबाजी कम नहीं है। किश्न कपूर को भाजपा ने गांधी यात्रा पर लगा दिया है। इसके अलावा शांता कुमार इस लिए ज्यादा सक्रिय नहीं है क्योंकि उनके करीबी राजीव भारद्वाज को टिकट नहीं दिया गया। लेकिन भाजपा का संगठन बेहद मजबूत है और उसमें सेंध नहीं लगाई जा पा रही है। भाजपा को सरकार, संगठन व संघ की ताकत का भरोसा है ।
ऐसे में कांग्रेस अगर गुटबाजी को खत्म करने में कामयाब रही है तो उसे कुछ सहारा मिल सकता है। कांग्रेस अध्यक्ष कुलदीप राठौर ने कहा कि कांग्रेस पूरी तरह से एक है और प्रचार अभियान भाजपा से कहीं आगे है। ये पूछे जाने पर कि सुधीर शर्मा तो गायब हो गए है। उनहोंने कहा कि वह भी प्रचार में उतरेंगे। कुछ बीमार चल रहे है। बाली को लेकर उन्होंने कहा कि वह विदेश में है लेकिन उनके लोग पार्टी के लिए काम कर रहे है।
धर्मशाला कांग्रेस मंडल में कार्यकारी मंडलाध्यक्ष की तैनाती को लेकर पूछे सवाल के जवाब में राठौर ने कहा कि इस बावत सुझाव आया था लेकिन इस प अमल नहीं किया जा रहा है। मौजूदा अध्यक्ष राजेश कपूर की कमान संभालेंगे। जो भी हो कांग्रेस पार्टी अगर भाजपा की गुटबाजी को भूनाने व अपन गुटबाजी को खत्म करने मेें कामयाब रही तो करिश्मा होने से कोई नहीं बचा सकता।
(1)