शिमला। आम आदमी पार्टी ने इल्जादम लगाया है कि देश के युवाओं के भविष्य को बर्बाद करने के लिए केंद्र की भाजपा सरकार अग्निपथ योजना लाई है जिसका देशभर में जगह जगह विरोध प्रदर्शन हो रहा हैं। इस प्रदर्शन में देशभर का युवा आक्रोशित होकर हिंसक हो गया है जगह जगह सरकारी संपति को नुकसान पहुंचाया जा रहा है।
पार्टी के अध्य क्ष सुरजीत ठाकुर ने राजधनी में आयोजित संवाददाता सम्मेेलन में कहा कि युवाओं की ओर से हिंसक प्रदर्शन से सरकारी संपति का नुकसान हो रहा है लेकिन सरकार द्वारा युवाओं को ठगने के लिए लाई गई योजना अग्निपथ इसके पीछे पूरी तरह से जिम्मेदार है। उन्होंने कहा कि आज देशभर में प्रधान से लेकर प्रधानमंत्री तक भाजपा के लोग हैं ट्रिपल से भी ज्यादा इंजनों की सरकार इनकी है फिर भी युवाओं को हिंसक होने से नहीं रोक पा रहे हैं। देशभर में युवा जगह जगह प्रदर्शन कर रहा है क्योंकि देश का हरेक युवा जो सेना में जाकर देश सेवा करना चाहता है उसके सपनों पर केंद्र की भाजपा सरकार ने पानी फेर दिया है।
आप प्रदेश अध्यक्ष सुरजीत ठाकुर ने कहा केंद्र की भाजपा सरकार अग्निपथ योजना पूरी तरह युवाओं को ठगने के लिए लाई है व आम आदमी पार्टी खुलकर विरोध करती है और केंद्र सरकार से इस योजना को तुरंत वापस करने की मांग करती है।
सुरजीत ठाकुर ने कहा कि केंद्र सरकार ने देशभर के युवाओं के लिए एक ऐसी योजना लाई है जो सिर्फ 4 साल का कॉन्ट्रैक्ट करेगी जिसके बाद 75 फीसदी युवाओं को बाहर किया जाएगा और 25 फीसदी युवाओं को नौकरी पर रखा जाएगाजो युवाओं के भविष्य के साथ सीधा खिलवाड़ है।
उन्होंने कहा कि 2017 से 2019 में देशभर में 10 लाख की जनसंख्या पर जो सेना में भर्तियां होनी थी वह भी पूरी तरह से नहीं कर पाई है। इस दौरान पूरे देश में हिमाचल में सबसे ज्यादा भर्ती हिमाचल प्रदेश से हुई है जो प्रति 10 लाख की जनसंख्या के आधार पर 402 बनती है। क्योंकि देश की सेवा में सबसे ज्यादा भर्ती होने वाला सैनिक हिमाचल का है। इसलिए जो केंद्र सरकार ने अग्निपथ योजना लाई है वह पूरे देश के साथ साथ हिमाचल के युवाओं के साथ खिलवाड़ करने वाली योजना है।
इसलिए आम आदमी पार्टी केंद्र सरकार की योजना का विरोध करती है जिसके खिलाफ कल सोमवार को राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर के माध्यम से राष्ट्रपति को ज्ञापन देकर इस योजना को वापस लेने की मांग करेंगे ।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना ठीक उसी प्रकार की है जैसी योजना इन्होंने देश के किसानों के लिए तीन कृषि कानून योजना लाई थी बाद में किसानों के भारी विरोध के बाद तीनों कृषि कानून को वापस करना पड़ा लेकिन वह भी करीब 700 किसानों के शहीद होने के बाद। लेकिन केंद्र सरकार की ओर से न तो उन किसानों के शहीद होने पर एक भी लफ्ज़ बोला गया और न ही श्रद्धांजलि दी गई।
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